हिमाचल प्रदेश के सरकारी स्कूलों में जल्द ही सीबीएसई पाठ्यक्रम लागू किया जा सकता है.सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने रविवार को ऐलान किया कि सरकार इस पर विचार कर रही है.जल्द ही प्रायोगिक तौर पर इस योजना को 100 स्कूलों में लागू करेगी. आधिकारिक बयान में उन्होंने कहा कि अगर योजना सफल रहती है तो फिर इसे राज्य के सभी स्कूलों में लागू कर दिया जाएगा.
हिमाचल प्रदेश के सरकारी स्कूलों में छात्रों की संख्या लगातार घट रही थी, पिछले दिनों शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने एक सवाल के जवाब में कहा था कि हिमाचल प्रदेश में स्कूलों की संख्या तो नहीं घटी, लेकिन पढ़ने वाले छात्रों की तादाद में गिरावट आई है. उन्होंने 20 साल का आंकड़ा भी दिया था और बताया था कि 2003-04 में सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले छात्रों की संख्या 9.71 लाख थी जो अब घटकर 4 लाख 30 हजार के आसपास रह गई है.माना जा रहा है कि सरकार सरकारी स्कूलों में घटी रही छात्र संख्या को देखते हुए ही यह कदम उठाने जा रही है.
सीएम सुक्खू ने यह भी किया ऐलान
सीएम सुक्खू ने यह भी ऐलान किया कि प्रदेश में जल्द ही 700 नए होमगार्ड भर्ती किए जाएंगे.ये घोषणाएं उन्होंने शिमला के बल्देयां में अग्निशमन सेवा सप्ताह के समापन समारोह की अध्यक्षता करते हुए कीं. अपने संबोधन में उन्होंने शिक्षा और स्वास्थ्य जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में सुधार की प्रतिबद्धता दोहराई.
अग्निशमन वाहनों को दिखाई हरी झंडी
इस मौके पर मुख्यमंत्री ने 13 नए अग्निशमन वाहनों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया और 2023 के मानसून के दौरान आपदा प्रबंधन में अग्निशमन कर्मियों, होमगार्ड और राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) के योगदान की सराहना की.कार्यक्रम में अग्निशमन सेवा के कर्मियों को उनकी विशिष्ट सेवाओं के लिए सम्मानित किया गया और सप्ताह भर चले समारोह के तहत आयोजित विभिन्न प्रतियोगिताओं के विजेताओं को पुरस्कार भी प्रदान किए गए.
शहीद अग्निशमन कर्मियों के परिवार को दी सहायता
मुख्यमंत्री ने अग्निशमन विभाग द्वारा लगाई गई प्रदर्शनियों का अवलोकन भी किया. इसके अलावा, उन्होंने शहीद स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की और 2009 में सोलन जिले के नालागढ़ में ड्यूटी के दौरान शहीद हुए दो अग्निशमन कर्मियों — जोगिंदर पाल और घनश्याम — के परिवारों को पांच-पांच लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की.मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि राज्य भर में स्वास्थ्य सेवाओं को और बेहतर बनाने के लिए स्वास्थ्य क्षेत्र में लगातार सुधार किए जा रहे हैं.